National Handloom Expo 2022
National Handloom Expo 2022
विज्ञापन : National Handloom Expo 2022

देहरादून रेस कोर्स में चल रहे (National Handloom Expo 2022) नेशनल हैंडलूम एक्सपो में पूरे देश भर से हथकरगा और हस्तशिल्प से बने बेहद खास और ऑर्गेनिक प्रोडेक्ट मौजूद है। खास बात यह है कि पिछले 2 सालों से चल रही कोविड महामारी के बाद शुरू हुए इस तरह के मेले में दाम काफी गिरे हुए हैं जो आपके लिए फायदेमंद साबित हो सकते हैं।

National Handloom Expo 2022, unique and organic prodect in india

नेशलन हेंडलूम एक्सपो 2022 का में क्या है खास

Himadri uttarakhand
Himadri uttarakhand

खासतौर से ऑर्गेनिक फैब्रिक हैंडलूम और हैंड क्राफ्ट का शौक रखने वाले लोगों के लिए एक बेस्ट प्लेटफॉर्म के रूप में अपनी पहचान बनाने वाला उत्तराखंड का नेशनल हैंडलूम एक्सपो का इस बार फिर से आयोजन किया गया है। बीच में कोविड  महामारी के चलते इस एक्सपो के आयोजन में अड़चन जरूर आई लेकिन अब एक बार फिर से आपको जम्मू कश्मीर से लेकर कर्नाटक और गुजरात से लेकर अरुणाचल प्रदेश तक के ऑर्गेनिक प्रोडक्ट हैंडलूम और हैंड क्राफ्ट लेकर नेशनल हैंडलूम एक्सपो देहरादून के प्रकृति प्रेमियों के लिए लेकर आया है। देहरादून रेस कोर्स में लगाए गए इस नेशनल हैंडलूम एक्सपो में देश के 13 अलग-अलग राज्यों से तकरीबन 100 से ज्यादा स्टॉल लगाई गई है। जिसमें कर्नाटक की सिल्क साड़ियां, जयपुर बगरू के ऑर्गेनिक फाइबर के आर्टिकल सहित उत्तराखंड के सैकड़ों लोकल प्रोडक्ट मौजूद है। देहरादून रेस कोर्स में उद्योग विभाग द्वारा लगाए गए इस नेशनल हैंडलूम एक्सपो का आयोजन 5 जून तक किया जा रहा है।

Pahadi topi
Pahadi topi

देहरादून के वो लोग खास तौर पर जो नेचुरल फैब्रिक का शौक रखते हैं। या फिर जिनका हैंड क्राफ्ट और हैंडलूम से विशेष लगाव है उनके चेहरों पर इस एक्सपो में आने के बाद रौनक देखने को मिल रही है। हुए देहरादून निवासी ललित शर्मा ने बताया कि वह बेसब्री से इस एक्सपो का हर साल इंतजार करते हैं और कोविड के बाद इस एक्सपो के लगने से वह काफी खुश हैं। उनके द्वारा कई खरीदारी भी की गई है साथ ही उनकी धर्मपत्नी ने भी इस तरह के आयोजनों को लेकर खुशी जाहिर की।

कर्नाटक बेंगलुरु की स्पेशल कांचीपुरम सिल्क साड़ियों देहरादून में

Kanchipuram silk sari
Kanchipuram silk sari

कर्नाटक बेंगलुरु से विशेष सिल्क साड़ियों का व्यापार करने देहरादून पहुंचे हेमराजन ने बताया कि वो कर्नाटक से विशेष कांचीपुरम सिल्क साड़ी लेकर देहरादून पहुंचे हैं और उन्हें उम्मीद है कि पिछले 2 सालों में जितना नुकसान उन्होंने झेला है उसकी कुछ भरपाई हो पाएगी। अपनी विशेष साड़ियों के बारे में बताते हुए हेमराजन ने बताया कि कांचीपुरम सिल्क साड़ियों का अपनी एक अलग विशेषता है। उनके पास 45 से 50 हजार तक की ब्राइडल साड़ियां मौजूद है। बेंगलुरु कर्नाटक से कांचीपुरम सिल्क साड़ियों का व्यापार करने देहरादून पहुंचे हेमराजन कहते हैं कि पिछले 2 सालों में ने भारी नुकसान हुआ है और वह उम्मीद कर रहे हैं कि अब आने वाले दौर में उनका यह व्यवसाय उठ पाएगा।

जयपुर बगरू नेचुरल फाइबर के हेंडलूम लोगों की खास पसन्द

Rajasthan bagru स्टॉल
Rajasthan bagru stall

राजस्थान जयपुर से 30 किलोमीटर दूर बगरू टाउनशिप जो कि अपने खास तरह के नेचुरल फाइबर के लिए पूरे देश में जाना जाता है। यह नेशनल हैंडलूम में विशेष आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। बगरू राजस्थान से देहरादून में अपने विशेष तरह के डिजाइन को लेकर देहरादून नेशनल हैंडलूम एक्सपो में पहुंचे सुनील सैनी नेम अपने इस खास तरह के प्रोडक्ट के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि उनके सभी कपड़े हैंडब्लॉक के ऊपर बनाए जाते हैं। उन्होंने अपने प्रोडक्ट की विशेषता बताते हुए कहा कि इसमें सारे ऑर्गेनिक रंगों का प्रयोग किया जाता है और सभी प्रिंट कलर सब्जियों से ले जाते हैं।

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इसकी यह विशेषता होती है कि यह शरीर के लिए बिल्कुल भी हानिकारक नहीं होते हैं और यह कपड़ा शरीर के लिए लाभदायक होता है। तो वही लोगों को भी यह काफी पसंद आ रहा है देहरादून की एक महिला ग्राहक रश्मि भट्ट ने बताया कि उनको यह विशेष तरह के डिजाइन काफी पसंद आ रहे हैं और यह इस्तेमाल करने में भी बेहद सुविधाजनक है।

कोविड में शुरू किये गए उत्तराखंड के गोदाम्बरी ब्रांड की अच्छी शुरुआत

Uttarakhand prodect
Uttarakhand prodect

देहरादून रेस कोर्स में चल रहे नेशनल हैंडलूम एक्सपो में उत्तराखंड के नए ब्रांड भी धूम मचा रहे हैं । देहरादून के जोहड़ी गांव में कोविड-19 महामारी के दौरान शुरू किए गए गोदाम्बरी टेक्सटाइल ब्रांड की कहानी काफी संघर्ष वाली है। उत्तराखंड की तरफ से नेशनल हैंडलूम एक्सपो में भाग ले रहे हैं गोदाम्बरी टेक्सटाइल कंपनी की प्रतिनिधि मानसी रांगड़ ने बताया कि उनका यह बयान उस समय शुरू किया गया जब देश में बड़ी-बड़ी कंपनियां धराशाई हो रही थी और रोजगार की स्थिति बेहद खराब थी। मानसी ने बताया कि देहरादून जोड़ी गांव में एक बुजुर्ग महिला की प्रेरणा से इस बैंड को शुरू किया गया है जिसमें आसपास के गांव के तकरीबन दो दर्जन लोगों को रोजगार मिला है और आज यह ब्रांड अपनी मार्केट में पहचान बना रहा है।

Uttarakhand prodect
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