शुक्रवार को पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत देहरादून अपने आवास पर सुबह 11 बजे से 1 बजे तक कड़कड़ाती धूप में अपने घर के बाहर बैठे रहे। इस दौरान उन्होंने मौन व्रत रखते हुए 1 घंटे तक कड़ी तपस्या की और इसकी वजह भी उन्होंने बाद में बताई।
Harish Rawat protests against power crisis
उत्तराखंड में इन दिनों बिजली संकट अपने चरम पर है लगातार सरकार से असीमित हो रही बिजली कटौती को लेकर सवाल किया जा रहा है तो वही विपक्ष भी बिजली संकट पर मुखर होते हैं लगातार सरकार को घेरने का काम कर रही है। जहां एक तरफ मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सचिवालय में प्रदेश की विद्युत व्यवस्था को लेकर बैठक ले रहे हैं और मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह धामी ने बैठक में विद्युत विभाग से जुड़े अधिकारियों को जमकर फटकार लगाते हुए अवस्थाओं को सुधारो रखने की बात कही तो वहीं दूसरी तरफ पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत मैं खुद को कष्ट देते हुए सरकार का विरोध किया।
उत्तराखंड में लगातार गहरा रहे बिजली संकट को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत देहरादून राजपुर रोड स्थित अपने आवास पर सुबह 11:00 बजे से लेकर 12:00 बजे तक कड़ी चिलचिलाती धूप में मौन व्रत पर बैठे रहे और उन्होंने इस संबंध में अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर जानकारी साझा की। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि सरकार को बिजली संकट को लेकर संवेदनशील होना पड़ेगा। हरीश रावत ने कहा कि उनका 1 घंटे तक कड़ी धूप में बिजली संकट को लेकर मौन व्रत करना एक तरह की तपस्या ही है और 1 घंटे कि इस तप से उत्तराखंड का बिजली संकट कम हो ऐसी कामना करते हैं साथ ही उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी को बिजली सत्याग्रह के रूप में अभियान चलाना चाहिए और जो घंटो घंटो की बिजली कटौती हो रही है उसको लेकर सरकार से सवाल पूछना चाहिए।