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ये उन सभी स्टूडेंट्स के लिए राहत की खबर है जो सरकारी नौकरी का सपना देख रहे थे लेकिन कोविड ने उनके सपनों पर पानी फेर दिया। दरअसल अब उत्तराखंड में कोविड से हालात कुछ बेहतर होते नजर आ रहे हैं और उम्मीद जताई जा रही है कि जल्द ही लॉकडाउन खुलेगा और लॉकडाउन खुलते ही कई नई भर्तियां भी उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग निकालने वाला है। केवल नई भर्तियां ही नहीं उन लोगों के लिए भी राहत की खबर है जिन्होंने परीक्षा दी हुई है और उनका रिजल्ट नहीं आया है तो वहीं कुछ लोगों का रिजल्ट आ चुका है तो उन का डॉक्यूमेंटेशन का भी कार्य शुरू किया जाएगा। 

government jobs in uttarakhand  After lockdown

वैश्विक महामारी कोविड-19 कोरोना वायरस ने हम सबके किसी ना किसी सपने को चकनाचूर किया है। इन 2 सालों में किसी का जॉब का प्लान था, तो किसी का शादी का प्लान था तो वहीं किसी को नया बिजनेस शुरू करना था लेकिन कोविड-19 कोरोना वायरस ने महामारी ने सभी के सपनों पर पानी फेर दिया। इन बीते यह 2 सालों में कोविड-19 और लॉकडाउन की बंदिशों के बाद अब फिर से एक उम्मीद दिख रही है और इसी उम्मीद के चलते आस लगाई जा रही है कि अब कुछ बेहतर होगा। उत्तराखंड में खासतौर से सरकारी नौकरियों की बात करें तो उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग इसकी पूरी तैयारी में है कि लॉक डाउन हटे और उसके बाद रोजगार सृजन को लेकर पूरी रफ्तार से काम किया जाए। उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के सचिव संतोष बडोनी के अनुसार आयोग और लॉकडाउन हटते ही 700 पदों की नई सरकारी नौकरी की भर्ती के अलावा पेंडिंग परीक्षाएं करवाई जाएगी तो वहीं पूर्व में निकले रिजल्ट के डॉक्यूमेंटेशन की प्रक्रिया भी पूरी गति से शुरू कर दी जाएंगी।  तो आइए आपको बताते हैं कि कौन-कौन सी नई भर्तियां लॉकडाउन के तुरंत बाद निकलने वाली है।

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लॉक डाउन हट ते ही निकलेंगी ये नई भर्तियां …..

  1. 600 से 700 पदों पर निकलेंगी लॉकडाउन खुलते ही विज्ञप्तियां
  2. समूह ग के तहत लेखपाल / पटवारी / उप निरीक्षक के लिए निकलेंगे 480 पद पर विज्ञप्ति
  3. बंदी रक्षक यानी जेल गार्ड के पदों पर निकलेंगी 180 भर्तियां
  4. प्रयोगशाला सहायक (laboratory assistant) पर निकलेंगी 308 भर्तियां।

यह तो नई भर्तियां है जिनकी विज्ञप्ति निकलने के बाद आपको इन में आवेदन करना होगा तो वहीं लॉकडाउन या फिर कोविड कर्फ्यू से पहले उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग UKSSSC द्वारा कुछ विज्ञप्तियों पर परीक्षाएं होनी थी जो कि कोविड की वजह से स्थगित हो गई थी। मसलन 25 अप्रैल को एलटी की एक परीक्षा होनी थी जो कि कोविड कर्फ्यू लगने की वजह से स्थगित कर दी गई और इस परीक्षा के लिए तकरीबन 46 हजार छात्रों द्वारा आवेदन किया गया था और सीधा सीधा 46 हजार छात्रों का भविष्य अधर में लटक गया। लेकिन अब उम्मीद है कि कर्फ्यू हटते ही जल्द लंबित परीक्षाएं कराई जाएगी। 

लॉकडाउन हटते ही होंगी ये पेंडिंग परीक्षाएं …..

  1. -वन विभाग में वन दरोगा के लिए आये 80 हजार आवेदन पर आयोग UKSSSC करवायेगा परिक्षा। 
  2. असिस्टेंट अकाउंटेंट के लिए 12 हजार क्षात्रों ने किया है आवेदन लॉकडाउन खुलते ही होंगी परीक्षाएं।
  3. -25 अप्रैल की स्थगित की गई LT टीचर की परीक्षा के लिए आयोग जल्द करेगा समय तय आये हैं 46 हजार आवेदन
  4. -12वीं पास योग्यता वाली परीक्षा जिसमें कनिष्ठ सहायक, डाटा एंट्री ऑपरेटर, टैक्स असिस्टेंट के पद है इनमें 1.19 लाख छात्रों ने आवेदन किया है, जल्द होंगी परीक्षा
  5. -ग्रेजुएशन कर चुके तकरीबन 2.20 लाख छात्रों द्वारा ग्राम विकास अधिकारी, ग्राम पंचायत अधिकारी, सहायक प्रबंधक उद्योग, सहित 13 अलग अलग पदों पर आवेदन किया गया है जिनकी परिक्षा जल्द होंगी। 

इतना ही नहीं कुछ अभ्यर्थी तो ऐसे थे जो परीक्षा भी दे चुके थे और उनका रिजल्ट भी आ चुका था और सिलेक्शन होने के बावजूद भी डॉक्युमेंटेशन ना होने की वजह से उनकी जॉइनिंग नहीं हो पाई थी ऐसे सैकड़ों अभ्यर्थियों के लिए भी लॉकडाउन खुलते ही नहीं रास्ते खुल जाएंगे क्योंकि आयोग तेज गति से पत्रकार और नई जोइनिंग देगा। 

रिजल्ट में निकल चुके इन पदों पर लॉकडाउन खुलते ही होगी जॉइनिंग …

  1. सहायक कृषी अधिकारी, कृषी विभाग- 200 पद
  2. जूनियर इंजीनियर  JE civil पेयजल विभाग- 221 पद 
  3. जूनियर इंजीनियर  JE Electrical– ऊर्जा UPCL – 180 पद  
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आयोग द्वारा परीक्षा करवाना भी है बड़ी चुनौती….

लॉकडाउन खुलने के बाद जैसे ही हालात सामान्य होते हैं निश्चित तौर से सरकारी नौकरियों में भी इजाफा होगा और भर्ती प्रक्रिया भी तेज होगी हालांकि सोशल डिस्टेंसिंग के चलते अधीनस्थ सेवा चयन आयोग को काफी दिक्कतों का सामना करना पढ़ रहा है। आयोग के अनुसार लॉकडाउन खुलने के बाद होने वाली परीक्षाओं में तकरीबन 2.20 लाख छात्र परीक्षा देंगे लेकिन सोशल डिस्टेंसिंग के जरिए की वजह से हर छात्र को एक कंप्यूटर और कुर्सी छोड़कर बैठना होता है जो की परीक्षा की लागत हो कई गुना बढ़ा देता है ऐसे में सोशल डिस्टेंसिंग में परीक्षा करवाना आयोग के लिए सबसे बड़ी चुनौती है तो वहीं अगर बात करें तो आयोग की चोटियां प्लेटफार्म पर 6 लाख अभ्यर्थी दर्ज है

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